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चाईबासा : सेवानिवृत्त मुख्य अभियंता राजीव पर बैक डेट से सीएस अनुमोदन की झारखंड भ्रष्टाचार उन्मूलन समिति के अध्यक्ष ने की सीएस से की शिकायत

चाईबासा में ग्रामीण कार्य विभाग के मुख्य अभियंता कार्यालय में इन दिनों सीएस घोटाला और बैक डेट से कार्य आवंटित करने की चर्चा जोरों पर है. विदित हो कि तत्कालीन सेवानिवृत्त मुख्य अभियंता राजीव कुमार लोचन के हस्ताक्षर से आज भी बैक डेट से ठेकेदार को कार्य आवंटित करने का आदेश विभिन्न कार्य प्रमण्डल में मेल से आ रहा है. जबकि ग्रामीण कार्य विभाग ने नये मुख्य अभियंता का पदस्थापना कर दिया गया है. फिर वर्तमान समय में सेवानिवृत्त मुख्य अभियंता के कार्यकाल की तिथि पर आज कार्य आवंटित किए जाने का आदेश किस परिस्थिति में प्रमण्डल में पहुंच रहा है. यह चर्चा ठेकेदारों के बीच काफी तेज है.

इस संबंध में झारखण्ड राज्य भ्रष्टाचार उन्मूलन समिति के प्रदेश अध्यक्ष गणेश प्रसाद ने मुख्य सचिव (सीएस) को पत्र लिख कर जांच की मांग की है. साथ ही प्रधान सचिव, ग्रामीण कार्य विभाग, अभियंता प्रमुख, ग्रामीण कार्य विभाग और वर्तमान मुख्य अभियंता राम प्यारे प्रसाद को इस पत्र की प्रतिलिपि दी है. गणेश प्रसाद ने पत्र में कहा है कि राजीव लोचन, अधीक्षण अभियंता सह प्रभारी मुख्य अभियंता ग्रामीण कार्य विभाग, रांची द्वारा सेवानिवृत्त होने के पश्चात भी बैक डेट से सीएस अनुमोदन करने की शिकायत प्राप्त हो रही है. पश्चिमी सिंहभूम जिला में चक्रधरपुर प्रमण्डल और चाईबासा प्रमण्डल में छह माह पूर्व सड़क निर्माण, विशेष मरम्मत कार्य की निविदा का निष्पादन अर्थात ठेकेदार को कार्य आवंटित के आदेश बैक डेट से सेवानिवृत्त होने के पश्चात किया गया है और अब भी किया जा रहा है. इसकी जांच मुख्य अभियंता कार्यालय की सीएस संचिका की जांच तथा कार्यालय के मेल आईडी की जांच से बैक डेट होने की पुष्टि हो जायेगी. दोनों प्रमण्डल में आज भी किस प्रक्रिया के तहत सेवानिवृत्त मुख्य अभियंता के हस्ताक्षर से कार्य आवंटित का आदेश जारी किया जा रहा है. इससे स्पष्ट होता है कि पूर्व में जो भ्रष्टाचार का आरोप पूर्व विधायक मंगल सिंह बोबोंगा ने राजीव लोचन पर लगाया है, वह सही है. उक्त भ्रष्ट अभियंता के विरुद्ध एसीबी, निगरानी विभाग में केस पहले से दर्ज है. इसकी जांच लम्बित है. उक्त जांच को शीघ्र पूरा कराने की आवश्यकता है. साथ ही सेवानिवृत्त होने के पश्चात बैक डेट से निर्गत आदेश की जांच करने तथा बैक डेट से कार्य प्रमण्डल में प्राप्त आदेश को रद्द कर पुनः निविदा आमंत्रित किए जाने की कार्रवाई सुनिश्चित करने हेतु आवश्यक निर्देश वर्तमान मुख्य अभियंता को देने की आवश्यकता है.

पूर्व विधायक मंगल सिंह बोबोंगा द्वारा लिखा गया पत्र

गणेश प्रसाद ने बताया कि मुख्य अभियंता कार्यालय में कार्यरत कार्यपालक अभियंता और सहायक अभियंता की मिलीभगत से बैक डेट से आदेश पत्र निर्गत किया जा रहा है. यदि सेवा कार्यकाल में कार्य आवंटित किया गया है तो प्रमण्डल में सेवानिवृत्त होने के बाद कार्य आवंटित करने का आदेश कैसे मेल किया जा रहा है. उल्लेखनीय है कि अक्टूबर माह में पूर्व विधायक सह झारखण्ड बचाओ अभियान के संयोजक मंगल सिंह बोबोंगा ने राज्यपाल को पत्र लिख राजीव लोचन द्वारा भारी भ्रष्टाचार कर उनके द्वारा अर्जित की गई चल, अचल सम्पत्ति की जांच किसी केन्द्रीय एजेंसी से कराने की मांग की गई थी. उन्होंने राजीव लोचन के खिलाफ आरोप लगाते हुये कहा था कि वे ठेकेदारों को टेक्निकल पास करने तथा कार्य आवंटित किए जाने के नाम पर अपने अधीन सहायक अभियंताओं विशेष कर मनोहरपुर प्रमंडल के निविदा कार्य को देख रहे झा के माध्यम से छः प्रतिशत कमीशन वसूल रहे हैं. इसकी केन्द्रीय एजेंसी से जांच कराने की आवश्यकता है. पूर्व प्रभारी मुख्य अभियंता बीरेंद्र राम से भी अधिक कमीशन वसूली का धंधा वर्तमान में चल रहा है. बीरेंद्र राम के समय से भी अधिक कमीशन वसूली की जांच जनहित में जरूरी है. लोचन अपनी अवैध कमाई से विभाग को अपने पॉकेट में रखते हैं. वरीय अभियंताओं की अनदेखी कर राजीव लोचन को ग्रामीण कार्य विभाग का मुख्य अभियंता बना दिया गया. लोचन द्वारा कार्य लम्बित रखने वाले ठेकेदार को 6 प्रतिशत कमीशन लेकर कार्य आवंटित किए जाने की भी सूचना प्राप्त हो रही है. टेंडर कमिटी में भी लोचन को सदस्य बनाया गया है. लोचन के अधीन सभी सहायक अभियंता ठेकेदारों को वॉट्सएप कॉल कर कार्य आवंटित करने के नाम पर वसूली अभियान चला रहे हैं. लोचन के अपने ससुराल वालों के नाम से भी सम्पत्ति अर्जित की है, जिसकी जांच आवश्यक है. (संतोष वर्मा की रिपोर्ट).

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