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बांका : बैठकों और फाइलों तक ही शुरू हुई है श्रावणी की तैयारी

आमोद कुमार दुबे

विश्व प्रसिद्व श्रावणी मेला की तैयारी में बांका के चांदन प्रखंड अंतर्गत कांवरिया पथ दो विभिन्न भागों में बटा हुआ है. एक भाग कटोरिया की उत्तरी सीमा औऱ बेलहर सीमा के बीच पड़ती है. जबकि दूसरा भाग कटोरिया की दक्षिणी सीमा से चांदन में प्रवेश करती है, जो झारखण्ड सीमा पर समाप्त हो जाती है.

हाल के दिनों में श्रावणी मेला को लेकर कई बैठकें हो चुकी हैं. लेकिन अगर कांवरिया पथ की ओर निगाह डाला जाए तो चांदन प्रखंड अंतर्गत किसी प्रकार की कोई तैयारी सर जमीन पर नहीं उतारी गई है. यहां तक कि कांवरिया धर्मशाला की रंगाई पुताई भी शुरू नहीं हुई है. साथ ही साथ पीएचईडी द्वारा भी पानी की व्यवस्था की तैयारी शुरू नहीं हुई है और कांवरिया पथ पर बिछाने वाले बालू के लिए बालू लिए बालू का भंडारण भी चांदन प्रखंड अंतर्गत इनारावरण से दुम्मा तक कहीं भी नहीं हुई है. साथ ही साथ शौचालय, बिजली व्यवस्था, के लिए भी कहीं से कोई तैयारी नहीं दिखाई पड़ रही है. सबसे खराब स्थिति गोड़ियारी गांव के पास है जहां कांवरिया पथ कई जगह गड्ढे में तब्दील हो गया है.

इतना ही नहीं गोड़ियारी नदी से कांवरिया पथ तक जाने वाला रास्ता पूरी तरह टूटा पड़ा है. जिससे होकर कांवरिया नदी से बाहर कांवरिया पथ पर निकलते हैं साथ ही साथ इसी गांव में सड़क किनारे नाली पूरी तरह जर्जर स्थिति में है. नाली का पानी पूरी तरह कांवरिया पथ पर चला जाता है. इसमें भी सुधार की आवश्यकता है. लेकिन जिला स्तर पर होने वाले तैयारी अभी तक बैठकों औऱ फाइलों तक ही शुरू हो सकी है. इससे साफ है कि कांवरिया पथ पर तैयारी सावन आने के बाद भी पूरी नहीं हो सकेगी और हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी तैयारियों के बीच ही सावन पार हो जाएगा.

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