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नालंदा : सोगरा वक़्फ़ स्टेट की अतिक्रमित जमीन को खाली कराने गए सीओ को महिलाओं ने दिखाया झाड़ू

प्रणय राज

नालंदा कोर्ट के आदेश पर बिहार शरीफ शहर के मदरसा गली में सोगरा वक़्फ़ स्टेट की जमीन पर बनाए गए मकान तोड़ने सोमवार को जब अंचलाधिकारी पहुंचे तो उन्हें लोगो के विरोध का सामना करना पड़ा. विरोध में महिलाये और बच्चों ने सड़को पर बैठ कर अपना आक्रोश जताया.

बता दें कि इस इलाके में करीब 30 से 35 वर्षों से रह रहे मकान मालिकों को नोटिस मिला है. जिसमें मकान को खाली नहीं करने के बाद तोड़ने की बात कही गयी है. 17 दिसंबर को मकान तोड़ने का समय सीमा निर्धारित की गई थी. सोमवार को निर्धारित समय पर मकान को खाली नहीं किए जाने के बाद मकान तोड़ने के लिए दल बल के साथ अधिकारी मौके पर पहुंचे लेकिन नागरिको के विरोध का सामना करना पड़ गया. लोग मकान को छोड़ने के मूड में नहीं है. उनका कहना है कि जब तक हाई कोर्ट से मामला निपटारा नहीं हो जाता तब तक हमें समय दिया जाए.लोग सुबह से  ही हाथों में झाड़ू लिए हुए सड़क पर बैठे हुए हैं और अधिकारियों को मकान तोड़ने नही देने की बात कह रहे है.

मालूम हो कि सोगरा वक़्फ़ स्टेट की जमीन को  पूर्व में 1 एकड़ 6 डिसिमल जमीन को बंदोबस्त किया गया था. जिस महिला को जमीन बंदोबस्त किया गया उनके द्वारा जमीन को बेच दिया गया. जिसके बाद लोगो ने मकान बना लिया. नियमानुसार कागज़ी कार्रवाई भी पूरी कर ली. इसी बीच सोगरा वक़्फ़ एस्टेट के मोतवाली में जमीन को सोगरा का बता कर ट्रिब्यूनल कोर्ट में मामला दाखिल किया, जहां से आदेश पारित हुआ कि यह ज़मीन सोगरा की है. 

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